Worldwar computerमैदान की जगह कंप्यूटर की स्क्रीन पर लड़ा जाएगा तीसरा विश्व युद्ध इंटरनेट क्रांति आने के बाद जीवन उन्नत तो हुआ है लेकिन इतना उन्नत नहीं कि जीवन और मृत्यु डिजिटल हो जाएं। लेकिन अगर अमेरिका की मानें तो अगला विश्व युद्ध मैदान की बजाय इंटरनेट यानी साइबरस्पेस में लड़ा जाएगा। अगर ऐसा होता है तो जान की बजाय संसाधनों और धन की क्षति पिछले युद्धों से ज्यादा और भयंकर होगी।
अमेरिका के रक्षा मंत्री लियोन पैनेटा ने कहा है कि भविष्य में युद्ध का मैदान साइबरस्पेस होगा क्योंकि हमलावरों ने बैंकों और अन्य वित्तीय संस्थाओं को निशाना बनाना शुरू कर दिया है और अब वे अमेरिका के पावर ग्रिडों और सरकारी प्रणाली को नष्ट करने की क्षमता विकसित कर रहे हैं।
पैनेटा ने सैन्य प्रतिष्ठानों की अधिकता वाले वर्जीनिया के शहर नोरफोक में एक कार्यक्रम में कहा।।हमारे सामने साइबरस्पेस के रूप में युद्ध की एक नयी चुनौती मुंह बाए खडी है। हम इस पर ध्यान देने की जरूरत है क्योंकि भविष्य का युद्ध साइबरस्पेस में ही लडा जाएगा।
अमेरिकी बैंकों और वित्तीय संस्थानों पर हाल के दिनों में संदिग्ध ईरानी हैकरों लगातार हमले किए हैं। साइबर फाइटर्स आफ इज अददीन अल कासम नाम के एक संगठन ने दावा किया है कि उसने इस्लाम विरोधी वीडियो के विरोधस्वरूप अमेरिकी वित्तीय संस्थाओं को निशाना बनाया है।
पैनेटा ने कहा कि अभी जब वो यहां आप लोगों से बात कर रहे हैं अमेरिका में साइबर हमले जारी हैं। हमारे बैंकों पर और वित्तीय संस्थाओं पर। अब वे ऐसी क्षमता विकसित कर रहे हैं जिससे वे हमारे पावर ग्रिडों। वित्तीय व्यवस्थाओं और सरकारी प्रणालियों को निशाना बना सकें और इस देश को तहस।नहस कर सकें। हालांकि अमेरिकी रक्षा मंत्री ने इसके लिए सीधे तौर पर किसी देश का नाम लिया।
उन्होंने कहा कि अमेरिका ने साइबर हमलों के स्रोत का पता लगाने के लिए साइबर फोरेंसिक में उल्लेखनीय निवेश किया है। उन्होंने साइबर हमलावरों को चेतावनी देते हुए कहा कि अमेरिका के पास उन्हें धर दबोचने और कानून के दायरे में लाने की क्षमता है। sabhar : amarujala.com
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